बहाली की बागडोर जब से पंचायत व नगर निकाय इकाई के हाथ में गया है तब से मेधा सूचि हेरफेर व जाली प्रमाण पत्र पर नौकरी करने वाले शिक्षकों की बाढ़ सी आ गई है. सासाराम प्रखंड के आकाशी व रामपुर पंचायत में गत माह 13 अगस्त को संपन्न दूसरे फेज के पंचायत शिक्षक नियोजन काउंसिलिग के दौरान नियमावली को ताक पर रख अभ्यर्थियों को चयन किए जाने के मामले में इन दोनों पंचायत के मुखिया व पंचायत सचिव पर प्राथमिकी दर्ज की जाएगी. 23 अगस्त को डीईओ द्वारा की गई अनुशंसा के आलोक में डीएम धर्मेंद्र कुमार ने सदर प्रखंड के बीईओ को पत्र प्राप्ति के 24 घंटे के अंदर संबंधित व्यक्तियों पर स्थानीय थाने में प्राथमिकी दर्ज कराने का आदेश दिया है.
गौरतलब है कि 13 अगस्त को सासाराम प्रखंड के रामपुर व आकाशी पंचायत के लिए हुई काउंसलिग में पंचायत नियोजन इकाई रामपुर द्वारा अभ्यर्थी अजीत कुमार सिंह तथा पंचायत नियोजन इकाई आकाशी द्वारा अभ्यर्थी भारद्वाज पांडेय का चयन किया गया था. जिनका टेट प्राण पत्र फर्जी पाए जाने के बाद पूर्व में ही रद्द किया जा चुका था. इसके अतिरिक्त आकाशी पंचायत में ही नियम को ताक पर अभ्यर्थी मो. सैफुर्र रहमान का मेधा अंक 61.74 के स्थान पर 83 फीसद दिखाकर किया गया था. रामपुर पंचायत में अभ्यर्थी रेणु कुमारी का मेधा अंक 81.6 को सुधार कर 62.71 किया गया था. इसी प्रकार मेधा सूचि में अभ्यर्थी सुशांत कुमार के मेधा अंक 69.15 है, लेकिन उनसे कम मेधा अंक वाले अभ्यर्थी सोनू कुमार सिंह का चयन किया गया है. मेधा सूची में छेड़छाड़ कर गलत तरीके से अभ्यर्थियों का चयन किया गया है.
वहीं, काउंसलिंग की वीडियोग्राफी की सीडी काउंसलिंग के अगले दिन यानि 14 अगस्त को कार्यालय में हस्तगत कराया जाना था, परंतु पंचायत इकाई ने 26 अगस्त को हस्तगत कराया था. सभी परिवादों की जांच व सुनवाई उपरांत दोनों पंचायत में काउंसलिग में हेराफेरी करने की बात को सही पाया गया है. जिसके बाद दोनों पंचायत रामपुर एवं आकाशी की काउंसलिग को डीईओ ने रद्द करते हुए संबंधित व्यक्तियों पर प्राथमिकी दर्ज करने संबंधी प्रतिवेदन डीएम को भेजा था. जिसपर डीएम धर्मेंद्र कुमार ने सदर प्रखंड के प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को पत्र प्राप्ति के 24 घंटे के अंदर संबंधित व्यक्तियों पर स्थानीय थाने में प्राथमिकी दर्ज कराने का आदेश दिया है.