थम गए पहिये तो साफ हो गई हवा: लॉकडाउन से रोहतास में कम हुआ प्रदूषण का ग्राफ

लॉकडाउन में सासाराम के पोस्ट ऑफिस चौराहा का नजारा

कोरोना वायरस के बचाव की जंग में 22 मार्च को जनता क‌र्फ्यू और उसके बाद लॉकडाउन से एक ओर जहां जन-जीवन थम सा गया है, लेकिन इससे रोहतास जिले में भी वायु प्रदूषण में भारी कमी आई है. जिले के शहरों सासाराम, डेहरी एवं बिक्रमगंज में दो पहिया के साथ-साथ साथ चारपहिया वाहनों की आवाजाही में कमी होने से प्रदूषण भी कम हुआ है. इन शहरों के एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) में 56 फीसद गिरावट आई है.

लॉकडाउन के शुरुआती दिनों में सासाराम का एक्यूआइ 200 के पार था, जो कि अब घटकर 87 हो गया है. जिला मुख्यालय सासाराम में जिले के अन्य प्रखंडों से रोजाना सैकड़ों वाहन सासाराम में आना-जाना लगा रहता था. लॉकडाउन में तमाम अनावश्यक निजी प्रतिष्ठानों के साथ-साथ सरकारी दफ्तर भी बंद होने की वजह से गत 19 दिनों में ऐसे वाहनों की आवाजाही लगभग नगण्य ही रही है. सड़कों पर वाहनों के नहीं चलने के कारण उससे निकलने वाले धूएं कम होने से पर्यावरण पर सकारात्मक प्रभाव डाला है.

पहले फोटो में लॉकडाउन बाद डेहरी के मोहनबिगहा से पहाड़ का नजारा

पर्यावरण के जानकारों का कहना है कि लॉकडाउन के बाद एयर क्वालिटी इंडेक्स में कमी आना पर्यावरण के लिए अच्छी बात है. सड़कों पर मोटर वाहनों के कानफोड़ू हॉर्न नहीं बजने के कारण हमें तरह-तरह के पक्षियों के आवाज सुनने को मिल रहे हैं. वाहनों के धुएं से निकलने वाले कार्बन डाइआक्साइड (सीओ-टू), सल्फर डाइआक्साइड (एसओटू) एवं नाइट्रोजन आक्साइड (एनओटू) की मात्रा में कमी आई है. इस वजह से एक्यूआइ कम हुआ है.

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